*छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग द्वारा राज्य सेवा परीक्षा 2024 में चयनित हुए : डेमन सिंह सोरी*
बालोद जिला के आदिवासी विकासखंड डौंडी के वनांचल ग्राम पेंड्री निवासी डेमन सिंह सोरी पिता पीउ राम सोरी जो कि एक ग्रामीण किसान का पुत्र है । गांव में ही रहकर अपनी तैयारी विगत दो वर्षों से सेवानिवृत्त डिप्टी कलेक्टर खेमलाल सोरी एवं सेवानिवृत्त व्याख्याता स्व. गैंदलाल सोरी के मार्गदर्शन एवं दिशा निर्देशन में अपनी प्रतिभा के बल पर परिश्रम व लगन से कामयाबी की मंजिल छूकर अपने गांव का ही नहीं, बल्कि जिला का नाम रोशन करने में सफलीभूत रहें। उन्होंने छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग के अंतर्गत राज्य सेवा परीक्षा 2024 द्वारा मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग में चयनित हुए हैं । उक्त विभाग में चयनित होने पर पूरे परिवार व समाज में खुशी व जश्न का माहौल है और लोगों में हर्ष व्याप्त है । बधाईयांँ और शुभकामनाएंँ संप्रेषित करने के लिए जन सैलाब का तांता लगा हुआ है यह उनके जीवन की सबसे बड़ी उपलब्धि है जो माता-पिता के आशीर्वाद से प्राप्त हुआ है साथ ही अथक मेहनत व प्रयास से ऐसे पद को पाने में कामयाब हुए हैं। यह परिवार का सुखद स्वप्न है जो एक ग्रामीण किसान का पुत्र है। अपने दीदी जीजा के पास रहकर कम्प्यूटर साइंस में स्नातक तक की पढ़ाई उन्होंने किया।
डेमन सिंह अपने माता-पिता व परिवार के सपना संजोकर पूरा करने में सफलीभूत रहें।
इसके पूर्व इसी सोरी परिवार से ही सी जी पी एस सी से सुश्री धन्वंतरि सोरी जो कि सहायक प्रध्यापक के पद पर चयनित हुए हैं वर्तमान में शासकीय कंँगला माझी महाविद्यालय डौंडी में ही पदस्थ है और बच्चों को बेहतर ढंग से अध्ययन-अध्यापन का कार्य करवा रहे हैं ।
मुख्य कार्यपालन अधिकारी के पद पर चयनित होने पर परिवार से उनके माता श्रीमती धनेश्वरी सोरी, पिता श्री पीउ राम सोरी, उनके दीदी-जीजा श्रीमती डिलीया बाई एवं गोवर्धन सिंह कोर्राम व्याख्याता सेजेस खलारी, बड़े पिता जी कली राम सोरी, मनिराम सोरी, शासकीय इंजीनियर के पद पर आसीन हेत कुमार सोरी, घासू राम सोरी व्याख्याता सेजेस चिखलाकसा, डोमेंद्र सोरी शिक्षक, कंकू राम कोर्राम सेवानिवृत्त प्राचार्य सांकरा (ज), सबल राम सोरी, कमलेश सोरी, समस्त सोरी परिवार एवं ग्राम पेंड्री के समस्त ग्रामवासी इसके इस उपलब्धि पर हर्ष व्याप्त करते हुए बधाइयांँ एवं शुभकामनाएंँ संप्रेषित किए हैं। उक्त जानकारी राज्यपाल पुरस्कृत धर्मेंद्र कुमार श्रवण व्याख्याता सेजेस खलारी ने दी है ।