जनसंख्या नियंत्रण कानून लागू किए जाने की तैयारी की जानी चाहिए,भाजपा नेता डॉ. प्रतीक उमरे ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से किया मांग,प्रधानमंत्री कार्यालय ने लिया संज्ञान
जनसंख्या नियंत्रण कानून लागू किए जाने की तैयारी की जानी चाहिए, भाजपा नेता डॉ. प्रतीक उमरे ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से किया मांग, प्रधानमंत्री कार्यालय ने लिया संज्ञान
दुर्ग नगर निगम के पूर्व एल्डरमैन भाजपा नेता डॉ. प्रतीक उमरे ने देशहित में लोकसभा चुनाव संपन्न होने के बाद जनसंख्या नियंत्रण कानून लागू किए जाने की मांग को लेकर प्रधानमंत्री कार्यालय को पत्र प्रेषित किया जिसपर प्रधानमंत्री कार्यालय ने संज्ञान लेते हुए इस पर कार्यवाही बाबत प्रधानमंत्री कार्यालय के अवर सचिव मुकुल दीक्षित को अग्रेषित किया है। पूर्व एल्डरमैन डॉ. प्रतीक उमरे ने कहा कि भारत में जनसंख्या तेजी के साथ बढ़ रही है।जिससे देश में भुखमरी, बेरोजगारी आदि समस्याएं भयंकर रूप लेती जा रही हैं।सीमित साधनों के कारण लूट, हत्याएं जैसे अपराधों में बढ़ोतरी हो रही है। यह सब भारत को गृह युद्ध की तरफ ले जा रहे हैं। इसे रोकने के लिए तत्काल कठोर जनसंख्या नियंत्रण कानून बनाया जाना बहुत जरूरी है।जनसंख्या देश में महामारी का रूप ले चुकी है। ऐसे में सरकार को तत्काल कठोर कानून ला कर एक निश्चित तिथि के बाद दो से अधिक बच्चों वाले लोगों की सभी सरकारी सुविधाएं छीन लेनी चाहिए या सीधे नागरिकता समाप्त करने का भी प्रावधान रखे,अगर देश की जनसंख्या इसी गति से बढ़ती रही तो 2050 में जनसंख्या 160 करोड़ को पार कर जाएगी,जनसंख्या विस्फोट के कारण देश का विकास पहले ही बुरी तरह प्रभावित हो रहा है।इस मामले में सख्ती दिखाने की जरूरत है।लोकसभा चुनाव के पश्चात भाजपा सरकार को तत्काल जनसंख्या नियंत्रण के लिए बिल लाना चाहिए,जिसमें कठोरतम प्रावधान किए जाएं अन्यथा जब तक 2 करोड़ बेघरों को घर दिया जायेगा तब तक 10 करोड़ बेघर और पैदा हो जाएंगे,जनसख्या विस्फोट के कारण पहले से ही वायु प्रदूषण,जल प्रदूषण और ध्वनि प्रदूषण बढ़ता जा रहा है,इस वजह से कोरोना जैसी महामारी को भी नियंत्रण करने में सरकार को बहुत परेशानियों का सामना करना पड़ा था।जनसंख्या नियंत्रण कानून के बिना स्वच्छ भारत और स्वस्थ भारत अभियान का शत-प्रतिशत सफल होना मुश्किल ही नहीं नामुमकिन है।पूर्व एल्डरमैन डॉ.प्रतीक उमरे ने कहा की प्रधानमंत्री की आर्थिक सलाहकार परिषद की रिपोर्ट के अनुसार 65 साल में हिंदुओं की आबादी में गिरावट हई है।1950 में भारत की जनसंख्या में हिंदुओं की हिस्सेदारी 84 फीसदी थी,जो 2015 में घटकर 78 फीसदी हो गई है।अगर हिंदुओं की आबादी इस कदर घट रही है,तो अब केंद्र की मोदी सरकार को इस पर कड़े फैसले लेने होंगे।